जब भी कोई भारी सामान उठाते है या कोई शारीरिक परिश्रम ज्यादा मात्रा में करते है तो हमे कभी ना कभी Saans lene mein dikkat hoti hai और Saans Phoolne की तकलीफ जरुर होती है।
और ये स्वाभाविक है। पर अगर आपको कोई हल्का काम करने पर भी सांस फूलने की समस्या हो रही है तो ये चिंता का विषय है।
Saans phoolne पर लोग कभी कभी बोलते है की वह ठीक से सांस नहीं ले पा रहे है। और हवा उसके फेंफड़े तक नहीं पौंच पा रही है। saans phoolne को डॉक्टर की भाषा में Dyspnea काहा जाता है।
अचानक से सांस फूलने के साथ साथ अगर आपको सीने में दर्द, चक्कर आना, बेंहोस हो जाना, या खासने पर काफ के साथ खून निकालने की समस्या हो रही है
तो आपको जल्द से डॉक्टर की सलाह लेनी चाहिए। क्यूंकि ऐसी तकलीफे जान लेवा भी हो सकते है।
सांस फूलने के वजह ?
आपके शारीरक या मानसिक स्थिति ठीक ना होने पर सांस फूलने की समस्या हो सकती है। और हमारे चारो तरफ बड़ते प्रदुषण या प्राकृतिक दुराव्स्थ्या के कारन भी सांस फूलने की बिमारी हो सकते है।
या फिर ज्यादा panic करना ( घबराना ) से भी सांस फुल सकते है। सांस फूलने की और भी कही वजह हो सकते है जैसे मोटापा आना, शारीरिक गठन ठीक ना होना।
इसके आलावा भी कही शरीक बीमारी है जिसके कारन सांस फूलने की तकलीफ हो सकती है जैसे –
- Coronary artery disease
- Congestive heart failure
- Emphysema and asthma
- Kidney and liver disease ( kidney या liver की बीमारी )
- Anemia ( खून में iron की कमी होना)
- Pneumonia ( निमोनिया)
तो अगर हमें सांस फूलने की सही वजह का पता चल जाए तो हम आसानी से saans phoolna ke ilaj कर सकते है।
सांस फूलने की तकलीफ को रोकने के लिए हम कही प्राकृतिक saans phoolna ke ilaj भी आजमा सकते है। तो आईये sans lene me problem ka ilaj जान लेते है
Organic paleo food से saans phoolna ka ilaj(जैविक पैलियो भोजन करे)
पुराने समय में गुफाओं में रहने वाले लोगों के द्वारा खाये जाने वाले जंगली पौधों और जानवरों से ही मुख्य तौर पर पैलियो (जीवाश्मीय) या केवमैन डाइट के नाम से जाने वाली पोषण paleo डाइट का तात्पर्य है।
ये आहार स्वास्थय के लिए सही हैं और इनसे saans phoolne की बीमारी को खत्म करने के साथ साथ शुगर, उच्च रक्तचाप और हृदय रोग आदि बिमारियों से लड़ने में मदद मिलती है।
इसका मतलब प्रकृति से उपलब्द होने वाले आहार जैसे sea food, साग पत्ते, या कच्चे मांस को बिना पाकाए खाना।
शारीर के कोई कोई हिस्सों में तकलीफ होना
शरीर के कही हिस्से जैसे रीड की हड्डी, मांस पेशियाँ, या हड्डियों में तकलीफ होने के कारन भी सांस फूलने की समस्या हो सकती है। ऐसे में डॉक्टर की सलाह से सांस फूलने का इलाज करे।
हमेशा Active रहे
आपको हर रोज घर के बाहार कम से कम ३० मिनट तक कोई भी activities में हिस्सा लेनी चाहिए। जैसे चलना, दौरना, कूदना, या फिर तैर ना। ये सब बहुत लाभदायक saans phoolna ke ilaj है।
बाहार के धुप और हवा में रहने से आपके शारीर में मौजूद toxic पदार्थ खत्म हो जाते है, जिससे saans phoolne की समस्या के साथ साथ शारीर के कही तकलीफों से आसानी से छुटकारा मिल सकती है।
आप body weight activities जैसे pushups भी कर सकते है जो sans fulne ke gharelu upchar है।
Toxic वातावरण से दूर रहे
हमारे हर रोज के जीवन धारा में हमे कुछ ऐसे घरेलु काम करने पड़ते है जिससे हमारे शारीर में जहरीले toxin का प्रबेश हो जाता है। और इस करण हमे सांस फूलने की समस्या हो सकती है।
इसलिए जितना हो सके air freshener, सुगंदित मोमबत्तियां आदि से दूर रहे। और हमेशा प्राकृतिक चीजो का ही इस्तेमाल करके saans phoolna ke ilaj करे।
पोषण देने वाले supplements से सांस फूलने का इलाज
आज के समय में प्रदुषण की मात्रा जितना जल्द फ़ैल रहा है ऐसे में हमे प्रकृति से मिलने वाले चीजे भी धीरे धीरे प्रदूषित हो जा राहा है।
इस कारन हम हर रोज जो भी फल या सब्जियां खाते है उससे हमारे शारीर के लिए जरुरी पोषण और vitamins नहीं मिल पा राहा है।
ऐसे में सांस फूलने का इलाज करने के लिए खाने के साथ साथ हमे कुछ vitamin supplements लेनी चाहियें जिससे हमारे शारीर को सही मात्रा में vitamins और minerals प्राप्त हो।
इससे हमारे सांस फूलने की समस्या से छुटकारा मिल सकता है। Glutathione boost, beet root powder, magnesium glycinate यह सारे हमारे शारीर के लिए बहुत ही लाभदायक supplements है।
तो ये था saans phoolna ke ilaj। इससे अपने घर पर जरुर आजमाए और सांस फूलने की समस्या को खत्म करे। पर ध्यान रखे सांस फुले की बीमारी कभी कभी जानलेवा भी साबित हो सकता है। तो ज्यादा तकलीफ होने पर डॉक्टर की सलाह जरुर ले।